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टीचर्स ऑफ बिहार-चाँदनी झा

टीचर्स ऑफ बिहार

जब मैं बनी सरकारी शिक्षक, तो समझती थी, सिर्फ मैं ही हूं होनहार। जब शिव सर के (Tob) टीचर्स ऑफ़ बिहार ,से जुड़ी, तो समझ आया, सभी शिक्षक/शिक्षिकाएं हैं कलाकार।। चलो आओ बातें करती हैं बिहार के शिक्षकों की– शिव सर को आइडिया आया, फेसबुक पर टीचर्स ऑफ बिहार बनाया।
धीरे धीरे 38 जिला 549 प्रखंड में छाया।
बिहार के शिक्षक जुड़ने लगे, अपने हुनर से भविष्य गढ़ने लगे।
नवाचार का खूब प्रसार,
मिलता है देखने को, ऑन द टीचर ऑफ बिहार।
टी एल एम के लाखों प्रकार, मिल जाएगा ऑन द टीचर्स ऑफ बिहार।। मृत्युंजयम सर का योगा देखा, राकेश सर का कबाड़ से जुगाड़।
उपेंद्र सर की पेंटिंग प्यारी, सुमोना मैम का आपदा प्रबंधन है सब पर भारी।।
ब्लॉग आया, गद्य पंकज, पद्ध पंकज में, कई कविता, लेख, कहानियां समाया।
कई कार्यक्रम आयोजित हुए, प्रमाण पत्र से सुशोभित हुए।
कोरोना काल में भी नहीं घबराया, शिव सर ने जब हौसला बढ़ाया।
“एस ओ एम” बच्चों के लिए सामने आया, ऑनलाइन हुई पढ़ाई।
बच्चों व शिक्षक ने सहभागिता निभाई।
नम्रता मैम की अंग्रेजी, उमाकांत सर का विज्ञान,
गोपालसर के संस्कृत के हुए सब दीवाने,
गणित हो गया सरल आसान।
विनोद सर के हिंदी के क्या कहने?

लवली मैम ने सामाजिक विज्ञान संभाली सन्डे फंडे की तो बात ही है निराली।

“एस ओ एम” आगे बढ़ता रहा, बच्चे रोज जुड़तेरहे।
तब Tob वेबसाइट आया, सारे वीडियो को समेटा गया।
और आगे जानते हैं बिहार के शिक्षकों को—‐ देवकांत सर, सुनील सर, चंद्रशेखर प्रसाद साहू सर से मिलाया। अपराजिता मैम का आपदा ज्ञान, टीवी पर छाया।
नम्रता mam, राकेश सर ने टीवी पर भी सिखाया।
“रूबी मैम” के आईडिया की क्या बात,,,,?
अद्भुत, अद्भुत, अद्भुत, अमिताभ बच्चन जी ने किया शाबाश।
रूबी मैम बांका से इनका नवाचार ट्विटर, सहित ऑल मीडिया में छाया।।
“टीचर ऑफ बिहार” ने इनको एक अद्भुत पहचान दिलाया।
बिहार दिवस पर शिक्षा विभाग से सम्मान पाया।।
आहा! कितना अनोखा अहसास हमें टीचर्स ऑफ बिहार ने दिलाया।
नित नये कार्यक्रम, नित नए विचार, से रोज सजता अपना टीचर्स ऑफ बिहार।।
निधि मैम की कविता को पढ़ा, अनामिका मैंने क्या अद्भुत विचार गढ़ा।?
मुजफ्फरपुर के केशव सर को जान पाई, नरेश कुमार निराला सर से मिलवाया।
रोमा मैम अररिया से,नित नये बात सिखाती है।
सत्यनारायण सर का हौसला हमें आगे बढ़ाती है।।
विजय सर “नीलकंठ” ने गद्य पद्य पंकज को बढ़ाया।
उमाकांत सर ने स्कूल ऑन मोबाइल को और पहचान दिलाया।।
नए-नए आईडिया, नए-नए विचार, बिहार के शिक्षकों का है यह संसार। हम विद्यालय से नहीं, हमसे हो विद्यालय की पहचान। बच्चों में हम नित भरते, नए-नए विज्ञान।
करके सीखो, कुछ तो लिखो, सभी एक पर एक हैं, कितनों को लिखूं? किसको छोडू? बिहार के शिक्षक अद्भुत, अनोखे, और नेक हैं।।
टीचर्स ऑफ बिहार ई-मैगजीन (बाल मंच) आया,
रूबी मैम “त्रिपुरारी सर” ने बच्चों को खूब लुभाया।।
बाल मैगजीन की कहानी, बच्चों की बातें, बच्चों की जुबानी।
बच्चों की कलाकारी भी देखी जा सकती, ऑन द टीचर्स ऑफ बिहार। बच्चे पेंटिंग, गायन, नृत्य, ही नहीं कविता, कहानी लिखते, और रखते अद्भुत विचार।।
हम शिक्षकों का बस एक ही सपना, नित नए सीखें, नित नई सिखाएं, देश के भविष्य को उन्नत बनाएं।
“शशिधर उज्जवल” सर का दिवस ज्ञान, नित नये ज्ञान से, हमें बनाती महान।
खुशबू मैम की “गति” सोशल मीडिया पर इतनी तेज। हर जानकारी हर ज्ञान को मिलती अनोखा क्रेज।
हमारी झिझक मिटाती है, हमें एक अच्छा शिक्षक बनाती है।
यूं ही नहीं, हम गर्व से कहते, “we are the teachers of Bihar:” प्रिंट मीडिया, इलेक्ट्रॉनिक मीडिया, टीचर ऑफ बिहार, सब जगह है छाया।
रोज नए-नए शिक्षक जुड़ते जाए, आओ इसे और समृद्ध बनाएं ।। लॉकडाउन में लर्निंग, हो या केचप कोर्स। टीचर बिहार ही है, सब का सोर्स।।
इसकी कितनी खूबियां गिनाऊं? फिर भी सब लिख ना पाऊं।
महिमा इसकी अनंत है, “teachers of Bihar” पर शिक्षा और ज्ञान का ना कोई अंत है।
शिक्षक/ शिक्षिकाओं और हमारे बच्चे मिलकर, शिक्षा का दीप जलाते हैं। हम हर पल टीचर of बिहार के साथ मुस्कुराते हैं।।
टीचर्स ऑफ बिहार पर मिलता कई सम्मान, ना कोई खर्चा, ना कोई अपमान।
कई शिक्षकों से मैंने भी सीखा, मैंने भी जाना।
बिहार के शिक्षकों में है अनेक कलाएं है अद्भुत खजाना।।
हम शिक्षक एकत्रित होकर सीखते और सिखाते हैं, इस तरह हम बिहार के शिक्षक साथ में मुस्कुराते हैं।।
सिर्फ सोशल मीडिया पर ही नहीं, विद्यालय, बच्चों, समाज और पदाधिकारियों के मन यह भाया।
हर और होती टीचर जॉब बिहार की चर्चा, इसे शिक्षकों के लिए शिक्षकों ने लाया।
व्हाट्सएप, फेसबुक, टि्वटर, इंस्टाग्राम,
सब जगह मिल जाएंगे, टीचर्स ऑफ बिहार।।
बिहार के शिक्षकों में है प्रतिभा की नहीं कमी।
यही बताया शिव सर ने “teachers of Bihar” को लाकर जमीं ।।

 

चाँदनी झा तारापुर मुंगेर

सदस्य टीचर्स ऑफ बिहार

 

 

 

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