मेरे स्कूल के बच्चे
दिल के बड़े हैं सच्चे।
सभी बच्चियाँ मिलकर
खेल रही है खेल,
कभी अलग हो जाती
कभी रहता बहुत है मेल।
कभी बनती दुर्गा
कभी बनती काली ,
एक अलग है उसमें बच्ची
जिसका नाम है लाली।
कभी डांस करती है
कभी है गाना गाती,
कभी सभी सब साथ मिलकर
रोज वो खाना खाती।
चुलबुली है बहुत प्यारी है
आँखें काली बड़ी- बड़ी,
बहुत सुंदर कोयल सी बोली
किसी बात पर रहती अड़ी।
आज बिना ये ड्रेस की आयी
लेकिन अच्छी नहीं लगती,
क्योंकि आज स्कूल नहीं आई थी
इसीलिए मैं उसे कुछ बोल न सकी।
नीतू रानी
स्कूल -म०वि०सुरीगाँव
प्रखंड -बायसी
जिला -पूर्णियाँ बिहार।
0 Likes