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जीवन का आधार-भोला प्रसाद शर्मा

Bhola

जीवन का आधार

योग जीवन का है आधार
गुरु इनके है अपरम्पार

मस्त गठिला और मजबूत
छिपा है इसमें वह वजूद

इसकी क्षेम कुशल व्यावहार
होता शरीर में रक्त संचार

अगर दक्ष गुरु से होता योग
निर्मल मन स्वच्छ रहे निरोग

जो करता है योग निरन्तर
शरीर में होता काफी अन्तर

रोज ब्रह्ममूर्त में जो जग जाते
योगी सभी स्वस्थ जीवन हैं पाते

जो करते हर दिन योग बेचारा
असाध्य रोग से पाते छुटकारा

सबको क्यूँ समझ नहीं आता
खेल-कूद भी योग बताता

सरल सुशील जीवन सब पाते
इक्कीस जून योग दिवस मनाते

राहत भरा जीवन जो अपनाते
कर योग वह भाग्य जगाते

चिकित्सक-वैद्य न हाथ लगाते
जो योग को नित्य कर्म बताते

खुले वातावरण हो ऊपर हो आकाश
सभ्यता संस्कृति का इससे होता विकास

भोला प्रसाद शर्मा
डगरूआ पूर्णिया (बिहार)

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