यह तो प्रकृति का वरदान है,
इस प्यारे सृष्टि का कमान है,
यह कोई अभिशाप नहीं,
मेरी नजर में यह सम्मान है ।
अपने आप को गर सुरक्षित रखना है,
इस माहवारी में नेपकिन का प्रयोग करना है,
इस मुद्दे को हम जन मानस तक पहुंचाए,
इसका हमें, हमसब को ख्याल रखना है ।
हमारी माताएं, पत्नी, बहने गर सुरक्षित रहेगी,
हमारा जीवन भी इनके पास आरक्षित रहेगी,
इस बारे में गर सबको जागरूक कर पाएं हम,
सारा परिवार और समाज ना आपस में खंडित रहेगी ।
विद्यालय में भी अपनी बच्चियों को यह समझाना है,
अपने आप को माहवारी के समय कैसे बचाना है,
हो हमेशा स्वच्छता और नेपकिन का सही प्रयोग,
फिर जग में तुम्हें आगे और आगे बढ़ जाना है ।
मुकेश कुमार
प्राथमिक विद्यालय पथरघट्टी
मुकेश कुमार