चेतावनी ईश्वर की
समय करवट है ले रहा
ईश मानव समक्ष एक प्रश्न रख रहा
क्यों खुद को तू ईश्वर बतला रहा
इतना अभिमान ठीक नहीं
सृष्टि का निर्माण तेरे हाथ नहीं
माना विध्वंस साधन तूने जुटा लिया
पाप, अत्याचार सीमा पार बढ़ा लिया
यहाँ मानवता का लेश नहीं
सारी वसुंधरा में ऐसा कोई देश नहीं
दूर किसी ग्रह पर जीवन है पनपने को
तूने सारे साधन है जुटा लिए वसुंधरा से बिछुड़ने को
समय है करवट ले रहा
ईश मानव समक्ष एक प्रश्न रख रहा
क्यों खुद को तू ईश्वर बतला रहा
क्यों सृष्टि से आँख मिला रहे
अपनी आतुरता क्यों दिखला रहे
क्यों उसके साहस की परीक्षा लेते हो
कुदरत से आँख मिचौली क्यों करते हो
बस इतना भर ही सामर्थ्य तेरा
बस इतना भर ही हथियार तेरा
बस इतना भर ही टंकार तेरा
क्यों तू ले रहा मेरा इम्तिहान
तेरा टूटेगा एक दिन अभिमान
ईश्वर तू क्या कहलाएगा ?
मानव रहने लायक नहीं रह जाएगा
मानव रहने लायक नहीं रह जाएगा।।
अवनीश कुमार
प्रधानाध्यापक
उत्क्रमित मध्य विद्यालय अजगरवा पूरब
प्रखंड- पकड़ीदयाल
जिला – पूर्वी चंपारण (मोतिहारी)