मेरी बगियाा-संध्या राय

मेरी बगिया

मेरे छत की छोटी बगिया,
फूल खिले हैं इनमें प्यारे।
देख के इनके प्यारे मुखड़े,
मन आनन्दित हो जाता है।
ये पौधे है जीवनदायी,
इनकी सांसो से है प्राण हमारे।
ये है जीवनरक्षक अपने,
सच्चे वाले दोस्त हमारे।
फिर भी हम क्यों समझ न पाते,
इनको ही हम हैं सताते।
जिनसे मिलता प्राणवायु,
उनको ही हम काटे जाते।
आओ मिलकर पेड़ लगाएँ।
प्रकृति का आशीर्वाद पाएँ।
मेरे छत की छोटी बगिया

जैसा एक बगिया लगाएँ।

संध्या राय
राजकीयकृत प्राथमिक विद्यालय बेगमसराय अनुसूचित
बछवाड़ा, बेगूसराय

0 Likes
Spread the love

Leave a Reply