राखी का मतलब है प्यार भईया
भाई बहन के प्यार का प्रतीक, रेशम का यह बंधन,
इसे हमसब कहते है रक्षाबंधन,
कच्ची मगर प्यार की डोर, होती बहुत अनमोल,
भाई बहन का यह नाता, जग में है इतिहास बनाता,
श्रावण पूर्णिमा का शुभ दिन, इसका गवाह बन जाता,
खुशियों का वो दिन है आया, मन को है हर्षाया,
हर बहन को रहता इस दिन का इंतजार है,
भाई भी रहता इस डोर से बांधने को बेताब है,
माथे पर बहन का लगाया तिलक उसका भाल है,
हाथ में रेशम का तार नहीं किसी का प्यार है,
बहन देती करुण दुहाई …..
“इसे समझना न रेशम का तार भईया,
मेरी राखी का मतलब है प्यार भईया”,
भाई बहन का वो शुभ दिन आया आज है,
हर कलाई पर सजा राखी का ताज है,
बहनों की आंखों में उमड़ा बहुत प्यार है,
भाई के हाथों मिलेगा जरूर उपहार है,
करेगा रक्षा भाई ये वचन देता आज है,
यू ही साथ रहेंगे हर जनम ये वादा करता आज है,
आओ मिलकर खाएं हम मिठाई,
रेशम की डोर, रक्षाबंधन की हार्दिक बधाई।
✍️विवेक कुमार
उत्क्रमित मध्य विद्यालय गवसरा मुशहर
(स्व रचित एवं मौलिक)