शिक्षक
शिक्षक हैं, ज्ञान का सागर,
करते हैं, प्रतिभा उजागर।
वह होते हैं, ज्ञान दाता,
तभी कहलाते रास्ट्र-निर्माता।
शांत चित्त, सौम्य व्यवहार,
उदार मन, छवि ईमानदार।
सार्थक अपनी मेहनत करते,
सदैव चरित्र का निर्माण करते।
बच्चों के मन को भाते,
हरपल ज्ञान की बातें करते।
प्रेरणा इनसे जो ले लेते,
सफलता की उड़ान भरते।
कर्मपथ पर चलना सिखलाते,
खेल-खेल में पढ़ना सिखलाते।
खूब पढ़ाते, खूब हँसाते,
हमेशा अच्छी बात बताते।
संस्कृति का झलक दिखाकर,
साहसी बनना हमें सिखलाये।
अंधकार को दूर भगाकर,
ज्ञान रूपी प्रकाश फैलाये।
मेहनत इनकी कुँजी है।
सफल छात्र ही पूँजी है।।
सम्मान दर्शाता, इनका नाम।
कर्मपथ में रहा, कैसा काम।।
अनुज कुमार वर्मा
मध्य विद्यालय बेलवा, कटिहार