बाबुल की गुड़िया हो सके तो समझो दुनियाँ एक पिता के “मर्म” को, रख कर अपने दिल पे पत्थर निभाता पिता के धर्म को। “बूत” बनकर है निभाता रस्म “कन्यदान”…
Teachers of Bihar- The Change Makers
बाबुल की गुड़िया हो सके तो समझो दुनियाँ एक पिता के “मर्म” को, रख कर अपने दिल पे पत्थर निभाता पिता के धर्म को। “बूत” बनकर है निभाता रस्म “कन्यदान”…