वर्षा ऋतु आई है वर्षा ऋतु है बहुत प्यारी लगती है सबको न्यारी इसका जो होता शुभागमन तो पृथ्वी भी देती मुस्कान इसका मौसम है बड़ा सुहाना इससे कोई न…
Author: Vijay Bahadur Singh
भारत की बेटी-कुमकुम कुमारी
भारत की बेटी मैं भारत की बेटी हूँ, यह सोच मैं इतराती हूँ। भारत की बेटी होने पर मैं, फूली नहीं समाती हूँ। एक ही जन्म में मैं, कई जन्मों…
मेरे पिता मेरे जन्मदाता-लवली वर्मा
मेरे पिता मेरे जन्मदाता छाया तले जिनकी पली मैं, पुष्प समान खिली मैं। है मेरा जिनसे अटूट नाता, मेरे पिता, मेरे जन्मदाता।। सपने किये मेरे पूरे, बिन उनके रह जाते…
कागज की नैया-गिरिधर कुमार
कागज की नैया इतनी प्यारी सुंदर कितनी ये मेरी कागज की नैया टिप टिप वर्षा रानी बरसे खूब मटकती मेरी नैया भैया आये दीदी आई छुटकी सी राधू भी आई…
एकिक नियम-एकलव्य
एकिक नियम एक नियम पर जो है चलता सत्य राह भी वही समझता घूर्णन से परिभ्रमण तक सदा नियम का पालन होता।। सूत्र बने कितने गणित के नियम से वे…
बिटिया रानी-दिलीप कुमार गुप्ता
बिटिया रानी मेरी बिटिया रानी पल पल होती तू बड़ी सयानी आ तुझे कुछ बात बताऊँ जीवन दुर्गम पथ पर आ तुम्हे चलना सिखलाऊँ। पढना लिखना तू मनोयोग से गढना…
नियम-विजय सिंह नीलकण्ठ
नियम नियमों पर चलने वाले जन सदा सफल हो जाते हैं जो भी है अनदेखी करता असफल हो पछताते हैं। सदा समय पर उगता सूरज सदा समय पर डूबता है …
हिन्दुस्तान का किसान-नरेश कुमार निराला
हिन्दुस्तान का किसान भूख मिटाते लोगों का जो उनकी कहानी सुनाता हूँ, फसल उगाते धरती से, मैं बात उन्हीं की बताता हूँ। मार्तण्ड के लाली से पहले खाट छोड़ उठ…
खुशहाल रहेगा देश हमारा-देव कांत मिश्र दिव्य
खुशहाल रहेगा देश हमारा जब स्वस्थ होगा विचार हमारा पुष्पित होगा घर परिवार हमारा तब खुशहाल रहेगा, देश हमारा। जब मानव मानव में प्रेम बढ़ेगा। जन-जन में परस्पर स्नेह बढ़ेगा…
क्यों रोती है बेटियाँ-भोला प्रसाद शर्मा
क्यों रोती है बेटियाँ जन्म लेकर क्या गुनाह किया पापा की बेटियाँ, दो आँगना की फुलवारी है फिर भी क्यों रोती है बेटियाँ। दो कुल को रौशन किया पापा की…