हर घर-घर की मान है बेटी। माथे का स्वाभिमान है बेटी। जीवन के अरमान है बेटी। वसुंधरा पर गुमान है बेटी। जिसके घर न बेटी जन्मी, बेटी खातिर तरस रहा।…
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शिक्षक विदाई गीत -मणिकांत मणि
विदाई के घड़ी,मन की व्यथा, क्या-क्या सुनाऊं मैं? ये है विछुड़न की पीड़ा जो, किसी से कह न पाऊं मैं? शिक्षा दान करने का तरीका, आपका अनमोल। भीतर से स्नेह…