जाने कहां गए वो दिन -जैनेन्द्र प्रसाद रवि

टॉफी पा के इठलाना, पल में मचल जाना, शैशव की बीती बातें- हमें याद आते हैं। बांहों में लिपट कर, आंचल में छिप जाना, मां की सुनाई लोरी- नहीं भूल…

विद्यालय का पहला दिन-बीनू मिश्रा

 विद्यालय का पहला दिन पथ निहारते आंखें थक गई मेरी मेरा लाल आज पहली बार स्वयं गया है पाठशाला पढ़ने को एक सी वेशभूषा में बच्चों के झुंड को देख…

स्तनपान अमरत्व दान-मधु कुमारी

स्तनपान अमरत्व दान  मैं भी हूँ एक माँ, सर्वप्रथम मैं अपनी अनुभूति लिखूंगी.. माँ के दूध को अमृत समान कहूंगी, स्तनपान को पाक-पवित्र माँ के रक्त से निर्मित अमृतपान कहूंगी,…

स्तनपान है अमृतपान-शुकदेव पाठक

स्तनपान है अमृतपान शिशु  जन्म के  फौरन बाद कराएं सभी मां  स्तनपान मां का दूध है अमृत समान रहता जीवन भर अभिमान। मां का दूध जीवन की धारा निर्भर इस…

अपना गांव तथा बचपन–शुकदेव पाठक

  अपना गांव तथा बचपन अपना गांव लगता बड़ा प्यारा गुजरा यहां है बचपन हमारा गांव के अपने चाचा–ताऊ खुश होते देख भाई–भाऊ। गांव का वातावरण होता ऐसा रहते साथ…

चलो चलें स्कूल की ओर-विजय सिंह “नीलकण्ठ”

चलो चलें स्कूल की ओर जागो बच्चो हो गई भोर चिड़ियाँ मचा रही है शोर जल्दी-जल्दी तैयार होकर चलो चलें स्कूल की ओर। बैग में सभी किताबें रख लो साथ…