राम-राम गाइए- अनामिका छंद
आप जो बता रहे।
साथ में खता कहे।।
रोष क्यों सदा गहे।
दोष को यहाँ सहे।।
आप तो उदार हैं।
सत्य का विचार हैं।।
भूल का सुधार हैं।
मूल का प्रचार हैं।।
प्रेम से बताइए।
दोष को मिटाइए।।
भाव को जगाइए।
राह तो दिखाइए।।
भक्ति-भाव रंग में।
राम नाम संग में।।
आप भी उमंग में।
हर्ष अंग-अंग में।।
राम-राम गाइए।
संत भाव पाइए।।
ध्यान धर्म लाइए।
भाग्य को जगाइए।।
रचयिता:- राम किशोर पाठक
प्रधान शिक्षक
प्राथमिक विद्यालय कालीगंज उत्तर टोला, बिहटा, पटना, बिहार।
संपर्क – 9835232978
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