वसुन्धरा आओ देश वासियों तुझे पुकारती वसुन्धरा। बिना बोले अपनी भाषा में देती संदेश दर्दभरा।। पेड़-पौधे कट रहे, पृथ्वी हो रही विरान है। स्वच्छ हवा, निर्मल पानी में बसते सबके…
हम धरती की संतान हैं-कुमकुम कुमारी
हम धरती की संतान हैं सृष्टि के कण-कण में देखो, बसते यहाँ भगवान हैं। धरती हमारी माता है, हम इसकी संतान हैं। कितनी प्यारी धरा हमारी, इसका हमें गुमान है।…
पर्यावरण-मुकेश कुमार
पर्यावरण आओ पर्यावरण को स्वच्छ बनाएं, अपने को स्वस्थ और जीवन को बेहतर बनाएं। अगर जीवन में हम सब एक भी पेड़ लगा देंगे, बच्चों के भविष्य को और बेहतर…
बच्चे सभी होते हैं खास-धीरज कुमार
बच्चे सभी होते है खास बच्चे सभी होते हैं खास सबको होती है इनसे आस। जब लगे किसी भी काम में लगती कभी ना भूख प्यास। हर बच्चे होते हैं…
मुदित मन-दिलीप कुमार गुप्त
मुदित मन जीवन पाटल सम सुशोभित पल्लवित पुष्पित कंटक में अगम्य पथ तपन तप्त बालुका विश्रांति मंजुल मरूवन में। मन कराल सम्मुख मृगतृष्णा एकल गमन पुनीत हरि वन में द्वन्द्व…
माँ का नाम-गौतम भारती
माँ का नाम हम भारत के अपने बच्चे भारत मेरी माँ का नाम। 2 हम वीर सपूत हैं इनकी शान बढ़ाना मेरा काम।। 2 हम भारत के…………. भारत मेरी माँ…………।…
यक्ष प्रश्न-गिरिधर कुमार
यक्ष प्रश्न पूछे जाते रहे हैं सवाल कभी हमसे तुमसे युधिष्ठिर से परम्परा रही है यह नियति की उत्तर ढूंढ़ना होता है कभी हमें कभी तुम्हें कभी युधिष्ठिर को यह…
वसुंधरा-देव कांत मिश्र ‘दिव्य’
वसुंधरा वसुंधरा सदा पावन बने बहे हृदय ऐसा विचार। हरी-भरी नित इसे बनाकर करें हम जीवन साकार।। इस धरा पर शस्य जब उगते मिलती हैं खुशियाँ अपार। रखें नहीं कलुषित…
युवा शक्ति-बीनू मिश्रा
युवा शक्ति गुमनाम सा जीवन कब, यौवन को हुआ स्वीकार, नवयौवन तो है ऋतुराज बसंत, जीवन का श्रृंगार। जब भी युवा शक्ति किया प्रदर्शन, नवयुग का निर्माण हुआ, नव यौवन…
डमरू वाला-भोला प्रसाद शर्मा
डमरू वाला रूप सुहावन ऐसा देखा “डमरू वाला” जैसा देखा कर त्रिशूल गले में नाग प्रस्फुटित अंग भी लगाए आग तीनों लोक में इसकी शान ऐसे हैं इनकी पहचान दु:ख…