ऋतुराज वसंत छह ऋतुओं में एक है, विशेषता जिसकी अनेक है। जिसमें होता सुखद अनुभव, ऋतुराज वसंत है वह। पुष्पित होते बाग-बगीचे, झूला झूलें वटवृक्ष नीचे। रागरंग होता है चहुं…
Category: sandeshparak
Sandeshparak poems are poems that are used to convey a message with feelings. Through poems, statements related to the country, the world, and society are transmitted to the people. Teachers of Bihar give an important message through the Sandeshparak of Padyapankaj.
विद्या-दिलीप कुमार गुप्त
विद्या विद्या अनुपम अद्भुत सम्मान अन्तस जागृत प्रज्ञा अनुतान संकीर्ण तिमिर होता विदीर्ण प्रखर तेजपुंज पाता यशगान । विद्या लौकिक जीवन का आधार संपोषित प्रस्फुटित सद्व्यवहार आध्यात्मिक उन्नयन का नव…
टीओबी हमारे सृजनहार-भवानंद सिंह
टीओबी हमारे सृजनहार नील गगन में लाखों तारे टीमटिमाते रहते हैं सारे, फिर भी अंधेरा मिटा न पाते एक अकेला चंदा मामा शीतल प्रकाश चहुँ ओर फैलाते, उसी तरह से…
कम्प्यूटर-भोला प्रसाद शर्मा
कम्प्यूटर आओ प्यारे नन्हा-मुन्ना मेरे, युग बदल गया अब तुम्हारे। बंद गुफा में छुपा है जीन, काम सही करता ये मशीन। जीवन के हर क्षेत्र में आता, कम समय में…
टिचर्स ऑफ बिहार-अशोक कुमार
टिचर्स ऑफ बिहार टीचर्स आफ बिहार, शिक्षकों का है प्लेटफार्म। मेंटरो के सहयोग से, बन गई शिक्षकों की पहचान।। नवाचार नई शिक्षा गतिविधियों को, आईसीटी पर कर रहे बिखेर। अपनी…
मौसम-अनुज वर्मा
मौसम लो मौसम ने ली अंगड़ाई एक के बाद दूसरी है आई l हम सब हैं भारतवासी, चारों मौसम के हैं आदि l जब नव वर्ष ने सौगात लाई, जाड़े…
ज़रा संभल-अवनीश कुमार
ज़रा संभल ऐ राही ज़रा संभल बाहर निकलने के लिए न मचल काल रूप धर आया है बनकर कोरोना इसे तुम समझो न बच्चों का खिलौना काल कल्वित आंकड़े निरन्तर…
पर्यायवाची कविता-आँचल शरण
पर्यायवाची कविता आओ बच्चों तुम्हें बताएं बातें कुछ तेरे ज्ञान की, झट याद हो जायेगा तुम्हें कुछ नये-नये शब्द, बस जरूरत है थोड़े ध्यान की। राजा को हम कहते है…
मानव धर्म-डॉ अनुपमा श्रीवास्तव
मानव धर्म कर सको तो कर दो बढ़कर है अगर तुझमें वो “दम” , पोछ दो “आंसू” किसी के हो ना उसकी आँखे “नम”। थाम लो “अपनों” की बाहें बांट…
देवभूमि हिमाचल-अपराजिता कुमारी
देवभूमि हिमाचल देवभूमि मैं, हिम का अंचल ‘हिमाचल’ स्थित मेैं भारत के उत्तर पश्चिम में है, क्षेत्रफल मेरा 55,673 वर्ग कि. मी. कश्मीर किरीट तो हूंँ मेैं, भारत का कंठ…