हिन्दी हर विषय में कमजोर, हिन्दी बस मेरी है, विश्वास जितना स्वयं पर उतना ही हिन्दी पर, नहीं मैं विद्वान नहीं, ह्रस्व और दीर्धीकार गलत हो जाए शायद, साहित्य की…
वो दिन-गिरिधर कुमार
वो दिन कितना बदल गया सब कुछ नियति की इस क्रीडा में अपने ही बच्चों से दूर शिक्षक की इस पीड़ा में… गुजरे जमाने की बात हो जैसे वह मंजर…
आदर्श-विजय सिंह नीलकण्ठ
आदर्श सुनने में लगता सरल लेकिन रहता काफी विरल पर जिसके पीछे लग जाए बना दे उसे निर्मल। गाँव शहर व विद्यालय मानव के पीछे भी लगते चर्चाएँ होने लगती…
बच्चे और विद्यालय-संयुक्ता कुमारी
बच्चे और विद्यालय बच्चे तो बच्चे होते हैं मन के बड़े सच्चे होते हैं।। ये वो फूल है जिनके बिना विद्यालय लगते बहुत वीराने ।। होते जब विद्यालय में विद्यालय…
हिंदी हमारी शान-शालिनी कुमारी
हिंदी हमारी शान हिंदी हमारी आन है हिंदी हमारी शान है हिंदी हमारी चेतना वाणी का शुभ वरदान है हिंदी हमारे देश के मातृभाषा की पहचान है हिंदी की प्रगति…
नारी शक्ति-प्रियंका कुमारी
नारी शक्ति नारी शक्ति तुझे कोई समझ न पाया है, कभी बनती अबला, तो कभी बनती तू अंगारा है। वक्त के साथ कहते हैं किसे परिवर्तन, यह संसार तुझसे सीख…
माँ-प्रभात रमण
माँ आँख खुली तो तुमको पाया रेंग रेंगकर खड़ा हुआ । तेरी ममता की छाया में न जाने कब बड़ा हुआ । ईश्वर का दूसरा रूप हो तुम नव प्रभात…
जीवन पथ-प्रीति कुमारी
जीवन-पथ जीवन-पथ है अनजान डगर , चलना इसपर है संभल-संभल । नित नयी चुनौतियाँ आएँगी, सामना करेंगे हम डटकर । इस जग का हम कल्याण करें, जन-मानस का निर्माण करें,…
दिनों के नाम-निधि चौधरी
दिनों के नाम सोमवार को चले स्कूल मंगलवार खिल गए फूल। बुधवार को आई नानी, गुरुवार हम सुने कहानी। शुक्रवार को लगे बाज़ार, शनिवार छुट्टी का इंतज़ार। आया प्यारा प्यारा…
जय वीर भूमि भारत-मनोज कुमार दुबे
जय वीर भूमि भारत स्वतंत्रता की खातिर जिसने न सर झुकाया चढ़ कर फाँसी के फंदे पर बागी कहलाया क्या नाम कर गया तू इतिहास ने बताया वो वीर मंगल…